Page 3 - CH- SAH EBA MAHAN CHITRA KARAH (LIT) LN
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अस्य – इसका ।

               रक्तवििः – लाल रग ।
                                ं
               शुकस्य – तोते का ।
               िञ्िु – िोंि |

               पाटलपुष्पम् – गुलाब ।
               शोभनम् – बहत अच्छा।
                            ु
               चित्रविािः – अनेक रगों वाला।
                                 ं
               जानस्न्त – जानते हो ।
               कीदृशा: – कसे।
                          ै
               भवस्न्त – होते ह।
                              ैं
               द्रष्टुम् – दखने क र्लए।
                         े
                              े
               इच्छाम: – िाहता हाँ।
                                 ू

               Meaning of the paragraph-

               मेिा – आिायि ! यहााँ कौआ भी ह स्जसका रग काला ह। ऐसे ही कोयल का रग भी काला ह।
                                                       ं
                                                                                    ं
                                             ै
                                                                ै
                                                                                                 ै
                                                                            ै
                                                 ै
                                                            े
                                                                  ाँ
                                                                                                 े
               र्शक्षक – हााँ! आपका ननरीक्षि उत्तम ह। छात्रों ! दखो, यहा फ ू ल भी ह। मनीष ! गुडहल को दखो।
               बताओ, इसका रग क्या ह?
                                      ै
                             ं
               मनीष – आिायि ! लाल रग। तोत की िोंि भी लाल रग गुलाब का फ ू ल भी लाल रग स युक्त ह।
                                                               ं
                                             े
                                      ं
                                                                                                     ै
                                                                                         ं
                                                                                             े
               र्शक्षक – बहत अच्छा! अनक रगों वाल तोत भी यहा ह, य क्या जानते हो?
                                       े
                                                      े
                                                              ाँ
                                                                   े
                                                                ैं
                                           ं
                                                  े
                          ु
               आददतय – आिायि ! वे कसे होते ह? हम सब दखना िाहते ह।
                                              ैं
                                     ै
                                                                     ैं
                                                         े
               Paragraph-4
               Word meaning
               तादृशान् शुकान् – वैसे तोतों को ।
               जन्तुशालाया- चिडड़या घर म।
                          ं
                                        ें
               तेषां – उनक ।
                          े
               पक्षा:- पंख ।
               पीता: – पीले ।
               रक्ताः – लाल ।
               भवस्न्त – होते ह।
                              ैं
               वववविविियुक्तानन – अनक रगों स युक्त ।
                                     े
                                              े
                                         ं
               श्वेतविािनन – सफद रग ।
                               े
                                   ं
               नीललोदहतविािनन – जामुनी रग ।
                                         ं
               कसरविािनन – कसर रग ।
                 े
                              े
                                   ं
               पाटलपुष्पाणि- गुलाब क फ ू ल ।
                                    े
               बकः – बगुला |
               शशः – खरगोश |
               भवतः – आपका |
               प्रावारकम् – कोट ।
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