Page 3 - LESSON NOTES-PADBANDH
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               (b) राम िे लका क े राजा रावण को मार नगराया ।
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               (c) अयोध्या क े राजा दशरर् क े चार पत्र र्े ।
                                     ु
               (d) आसमाि में उड़ता गब्बारा फट गया ।
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                                               ं
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                                                      ं
               उपयक्त वाक्ों में लाल छप शब्द 'सज्ञा पदबध' है ।
                                                              थ
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                                                                                              े
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               (2) कवशषण पदबध-  वह पदबध जो सज्ञा अर्वा सविाम की नवशषता बतलाता हुआ नवशषण का काय           थ
                                ं
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               कर, नवशषण पदबध कहलाता है ।
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                                                                    े
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                 ू
               दसर शब्दों में- पदबध का शीष अर्वा अनतम शब्द यनद नवशषण हो और अन्य सभी पद उसी पर आनित
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                                     ं
               हों तो वह 'नवशषण पदबध' कहलाता है ।
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               जस-
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               (a) तज चलि वाली गानड़या प्राय  दर से पहुचती हैं ।
                                 े
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               (b) उस घर क े कोि में बठा हुआ आदमी जासस है ।
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               (c) उसका घोड़ा अत्यत सदर, फरतीला और आज्ञाकारी है ।
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               (d) बरगद और पीपल की घिी छाव से हम बहुत सख नमला ।
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               उपयक्त वाक्ों में लाल छप शब्द 'नवशषण पदबध' है ।
                                                                      थ
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                                                                              थ
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               (3) सवनाम पदबध- वह पदबध जो वाक् में सविाम का काय कर, सविाम पदबध कहलाता है ।
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               उदाहरण क े नलए निम्ननलखखत वाक् दखखए-
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               नबजली--आपि    े   नदखाकर फरती   सी बालक को डबि से बचा नलया ।
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               शरारत करि वाल छात्रों में से कछ पकड़ गए ।
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               नवरोध करि वाल लोगों में से कोई िहीं बोला ।
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               उपयक्त वाक्ों में लाल छप शब्द सविाम पदबध हैं क्ोंनक वे क्रमश  'आपि' 'कछ' और 'कोई' इि
                  थ
               सविाम शब्दों से सम्बद्ध हैं ।
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               (4) किया पदबध- वह पदबध जो अिक नक्रयाहो बिा नमलकर से पदों-, नक्रया पदबध कहलाता है ।
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                                                                          ँ
               नक्रया पदबध में मख्य नक्रया पहल आती ह। उसक बाद अन्य नक्रयाए नमलकर एक समग्र इकाई बिाती
                 ै
                                 ं
               ह। यही 'नक्रया पदबध' है ।
                   े
                 ै
               जस-
               (a) वह बाजार की ओर आया होगा ।
                     ु
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               (b) मझ मोहि छत से नदखाई द े रहा है ।
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               (c) सरश िदी में डब गया ।
               (d) अब दरवाजा खोला जा सकता है ।
                                                        ं
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               उपयक्त वाक्ों में लाल छप शब्द 'नक्रया पदबध' है ।
                                                                                           ं
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               (5)  किया कवशषण पदबध- वह पदबध जो वाक् में अव्यय का काय कर, अव्यय पदबध कहलाता है ।
                                                                                       े
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               इस पदबध का अनतम शब्द अव्यय होता ह। उदाहरण क े नलए निम्ननलखखत वाक् दखखए-
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               (a)  वह पहल की अपक्षा बहुत तज दौड़ा |
                     ु
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               (b)  सबह से शाम तक वह बठा रहा  A
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               (c)  कश्मीर से कन्याकमारी तक भारत एक है ?
                                    े
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                 इि वाक्ों में लाल छप शब्द अव्यय पदबध हैं ।
               Learning outcome :
                                                ाँ
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               इस पाठ से कवद्यार्थी यह  समझ पाएग –
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