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SAI INTERNATIONAL SCHOOL
SLRC
CLASS – X HINDI B
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किव-वीरन डगवाल
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वीरन डगवाल जी को िह ी किवता की नई पीढ़ी क सबस चहत और आदश किवयों म स एक माना
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जाता ह। उनका ज 5 अग 1947 को कीितनगर, िटहरी गढ़वाल, उ राखड म आ। उनकी िच
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किवताओं व कहािनयों म रही ह। उ ोंन मज रनगर, सहारनपर, कानपर, बरली, ननीताल और अ
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म इलाहाबाद िव िव ालय स िश ा ा की। उ ोंन 1968 म इलाहाबाद िव िव ालय स एम॰ए॰
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और त ात डी॰िफल की िडि या ा की।
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त किवता म किव न ऐितहािसक धरोहर का वणन करत ए हम यह बताया ह िक धरोहर तो अ ी
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तथा बरी दोनों ही हो सकती ह। जस कपनी बाग़ एक अ ी धरोहर या अ जों ारा दी गई िवरासत ह।
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वहीँ उसक महान पर रखी तोप एक ऐसी िवरासत ह, िजसन हमार महान त ता सनािनयों का बड़ी
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बदद स क़ िकया था।अत म, किव तोप की वतमान थित क बार म बता कर हम यह िश ा दत ह
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िक चाह अ ाचारी श िकतनी ही बड़ी ों न हो, उसका अत ज़ र होता ह। जस कभी नक की
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आग उगलन वाली तोप क मह म आज िचिड़या घस कर अपना खल खलती ह, यािन अब तोप का दौर
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ख़ हो गया और वह िकसी काम की नहीं रही। ठीक इसी तरह, बड़-बड़ अिभमािनयों और
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अ ाचा रयों का गमान भी समय क साथ ख़ ही हो जाता ह।
का ाश….
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कपनी बाग़ क महान पर
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धर रखी गई ह यह 1857 की तोप
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इसकी होती ह बड़ी स ाल, िवरासत म िमल े
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कपनी बाग़ की तरह
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साल म चमकाई जाती ह दो बार।
श ाथ –
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महान - वश ार पर धर रखी - रखी गई
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स ाल – दखभाल िवरासत - पव पीिढ़यों स ा व ए
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सग -: त प या हमारी िहदी पा प क ' श भाग -2 ' स ली गई ह। इसक किव वीरन
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डगवाल ह। इन प यों म किव न 1857 क थम त ता स ाम म इ माल की गई तोप का वणन
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िकया ह।